चमोली। जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने कलेक्ट्रेट सभागार में नाबार्ड द्वारा वित पोषित ग्रामीण अवसंरचना विकास निधि(आरआईडीएफ) के तहत संचालित विकास कार्यो की समीक्षा की। जिलाधिकारी ने सभी संबंधित विभागों को लंबित कार्यो को शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश दिए। उन्होंने नाबार्ड द्वारा हेमकुंड पैदल मार्ग व रेलिंग कार्यों को लेकर पीडब्ल्यूडी को विभागीय समीक्षा करते हुए आख्या उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने सिंचाई विभाग को जोशीमठ व दशोली ब्लॉक के बाढ़ प्रोटेक्शन कार्यों के प्रस्ताव बनाने व मत्स्य विभाग को आरआईडीएफ के तहत मण्डल व देवाल में ट्राउट मछली के बडे प्रोजेक्ट बनाने के निर्देश दिए। साथ ही जिलाधिकारी ने सभी विभागों को बड़े प्रोजेक्टों की प्रगति के फोटोग्राफ्स उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। इसके साथ ही उन्होंने कार्यदायी संस्था मण्डी परिषद की धीमी प्रगति को लेकर मत्स्य विभाग को इस संबंध में निदेशालय को जानकारी देने के निर्देश दिए।
जिला विकास प्रबंधक नाबार्ड श्रेयांश जोशी ने बताया कि जनपद में नाबार्ड द्वारा वित पोषित ग्रामीण अवसंरचनात्मक विकास निधि के अन्तर्गत पशुपालन विभाग, मत्स्य विभाग, शिक्षा, उद्यान, लोनिवि, सिंचाई व तकनीकी शिक्षा आदि विभागों के माध्यम से 220 करोड़ के 101 प्रोजेक्ट चल रहे हैं। जिसमें पीडब्लूडी को 17, लद्यु सिंचाई में 13, शिक्षा विभाग को 10, सिंचाई को 6 व पशुपालन विभाग को 4 प्रोजेक्ट शामिल हैं।
इस दौरान मुख्य विकास अधिकारी नन्दन कुमार सहित अन्य संबंधित अधिकारी मौजूद रहे।
डीएम ने ली ग्रीष्मकालीन राजधानी परिक्षेत्र में अवस्थापना विकास एवं आवश्यक सुविधाएं विकसित किए जाने को लेकर बैठक ————–04,05
चमोली(आरएनएस)। ग्रीष्मकालीन राजधानी परिक्षेत्र में अवस्थापना विकास एवं आवश्यक सुविधाएं विकसित किए जाने को लेकर जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने कलेक्ट्रेट सभागार में समीक्षा बैठक ली। इस दौरान विभिन्न विभागों द्वारा तैयार किए प्रस्तावों को लेकर चर्चा की गयी।
जिलाधिकारी ने सभी विभागों को आगामी 25 वर्षों के हिसाब से कार्य योजना बनाने के निर्देश दिए। उन्होंने पीडब्ल्यूडी को निरीक्षण भवन के विस्तारीकरण और डेयरी को सिमली मिल्क प्लांट का अपग्रेडेशन का प्रस्ताव बनाने के निर्देश दिए। यूपीसीएल को विद्युत तारों को अंडरग्राउंड करने को लेकर प्रस्ताव बनाने, शिक्षा विभाग को गैरसैंण में लाइब्रेरी का प्रस्ताव बनाने तथा नगर पंचायत व पेयजल विभाग को रेन वॉटर हार्वेस्टिंग का प्रस्ताव बनाने के निर्देश दिए। खण्ड विकास अधिकारी को शहर के ड्रेनेज सिस्टम व शहर के सौन्दर्यीकरण को लेकर प्रस्ताव बनाने व सरकारी भवनों व दुकानो की कलर कोडिंग कराने के निर्देश दिए। सिंचाई विभाग को आपदा से क्षतिग्रस्त खनसर घाटी के गदेरों की सुरक्षात्मक दीवारों का प्रस्ताव बनाने और कृषि एवं लघु सिंचाई को जल संरक्षण एवं सिंचाई को लेकर कंबाइंड प्लान बनाने के निर्देश दिए। कृषि एवं उद्यान को हाइड्रोपोनिक्स तकनीक व फ्लोरीकल्चर पर विशेष फोकस करने को कहा।
चिकित्सा विभाग द्वारा भराड़ीसैण में अत्याधुनिक चिकित्सालय का प्रस्ताव बनाया गया था जिसको लेकर जिलाधिकारी ने चिकित्सालय में एक्स रे, वेंटीलेटर, ईसीजी सहित अन्य आवश्यक संसाधनों को समिलित कर रिवाइज्ड प्रस्ताव बनाने के साथ ही ट्राजिट हॉस्पिटल का प्रस्ताव बनाने के निर्देश दिए। हाउस ऑफ हिमालय थीम पर ग्रोथ सेन्टर का प्रस्ताव बनाने जिसमें स्थानीय उत्पादों की ब्रांडिंग व पैकेजिंग की जा सके। इसके साथ ही एनएच को सिमली कर्णप्रयाग सड़क को दुरस्त करने व जनपद में एनएच अन्तर्गत झतिग्रस्त नालियों की मरम्मत व साफ सफाई करने के निर्देश दिए।
इस दौरान मुख्य विकास अधिकारी नन्दन कुमार, परियोजना निदेशक डीआरडीए आनन्द सिंह सहित अन्य संबंधित अधिकारी मौजूद रहे।